अनूपपुर। अनूपपुर की सीमा से सटे ग्राम पंचायत खाडा और उसके आसपास चल रही एसईसीएल की कोयला खदान में मिट्टी हटाने का काम शुरू हुआ है तब से कोल माफिया काफी सक्रिय हो गए हैं बीते दिनों ऐसा ही एक मामला कोतवाली अंतगत आया हुआ था जिसमे पुलिस के द्वारा 37 टन कोयले के मामले में बरबसपुर के निवासी को आरोपी बनाते हुए उसके खिलाफ आईपीसी की धाराओं में कार्रवाई की गई थी। जिस पर आरोपी के द्वारा अब थाने में शिकायत देते हुए मुख्य आरोपी को छोड़कर बाकी को आरोपी बनाए जाने की बात बताई है।
उक्त मामले में बरबसपुर के रहने वाले पुष्पेंद्र प्रताप सिंह पिता स्वर्गीय लल्लू लाल सिंह के द्वारा कोतवाली थाने में 16 जून को एक आवेदन देते हुए बताया है कि 3 जून को ग्राम पंचायत खाडा से अनूपपुर पुलिस के द्वारा 37 टन कोयले की जाप्ति बनाई गई थी जिसमें राहुल पिता संतोष गोस्वामी निवासी खाडा, सुशील मेहरा पिता राम मेहरा को आरोपी बनाया गया था। उक्त मामले में पुलिस के द्वारा मामला पंजीबद्ध किया गया था लेकिन उस मामले में पुलिस के द्वारा प्रमुख आरोपी मोहम्मद सदीक उर्फ जानू कबाड़ी निवासी वार्ड क्रमांक 7 अनूपपुर को आरोपी नहीं बनाया गया,, जबकि इस पूरे अपराध के पीछे जानू कबाड़ी का हाथ प्रमुख रूप से बताया जा रहा है इसमें प्रकरण से संबंधित विवेचक निवेशक मंगला दुबे के द्वारा राहुल और सुनील के घर से उठाने के बाद उनका बयान लिया गया। जिसमें जानू कबाड़ी का भी नाम सामने आया था लेकिन पुलिस के द्वारा जानू कबाड़ी का नाम हटाते हुए इन दोनों के खिलाफ कोयले का अवैध परिवहन और भंडारण करने का मामला दर्ज कर दिया जबकि कोयले के व्यापार का मुख्य सरगना जानू का बताया जा रहा है प्रमाणित करने के लिए ऑडियो रिकॉर्डिंग भी पुलिस को उपलब्ध कराने की बात पुष्पेंद्र सिंह के द्वारा कही जा रही है। आवेदन के साथ ही आवेदक के द्वारा उक्त आरोपी के खिलाफ भी जांच कर अपराध पंजीबद्ध करने की मांग अपने आवेदन के माध्यम से कहीं गई है।
